परियोंकी राणी


Dedicated to my lovly baby doll Anushka


रुठो ना तुम ऐसे
ओ परीयौनकी राणी
तुम बिन अधुरी है 
मेरी जीवन कहानी

तुम रुठो तो 
रुठ जाते है ये चाँद सितारे
आँसू भी आ जाते है
पलकों के किनारे

तुम रूठे तो 
रूठ जाती है हर एक कली
तुम्हे पाकर ही तो मुझे
दुनिया की सारी खुशी मिली

तेरा ये झूठा गुस्सा 
और गालोमे हँसी की लहर
एक दिन सुना सुना हो जाएगा
तेरे पापाके खुशियोंका शहर

एक बार तो हसले
इन नाज़ुकसे गालोमे
झूलने दे पापा को
खुशियोंके झूलोमें

बहोत ही खूबसूरत दिखता है
तेरे गालों  का ये डिंपल 
तू ऐसीही मुस्कुराती रहे
हो जाये ये जीवन और भी सिंपल

*अजय द. चव्हाण*
उर्फ राहुल 
खाकी वर्दीतील दर्दी कवि
8424043233

टिप्पण्या

Tushar Kasure म्हणाले…
हिंदी मध्ये कविता खूपच छान

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